UP News: यूपीएटीएस द्वारा सहारनपुर से मो. नदीम को गिरफ्तार किया गया हैं। जैश-ए-मुहम्मद का आतंकी मो. नदीम को लेकर यूपी एक एडीजे प्रशांत कुमार ने बड़ा खुलासा किया हैं। एडीजी प्रशांत कुमार ने मीडिया को दिए प्रेस कॉफ्रेंस में बताया कि जैश-ए-मुहम्मद का आतंकी मो. नदीम यूपी में कई जगह आतंकी वारदातों को अंजाम देने की तैयारी में था। उन्होने बताया कि मो. नदीम के आतंकी संगठन जैश-ए-मुहम्मद से संबंध हैं । आतंकी नदीम 2018 में जैश-ए-मुहम्मद के आतंकी हकीमुल्लाह के संपर्क मेंऔर वह प्रदेश में कई जगहों पर आतंकी वारदात करने की तैयारी में था। वह ऑनलाइन संपर्कों से पाकिस्तान में बैठे अपने आकाओं के संपर्क में आया था।

कैसे बना मो. नदीम जैश-ए-मुहम्मद का आंतकी-

आतंकी नदीम 2018 में जैश-ए-मुहम्मद के आतंकी हकीमुल्लाह के संपर्क में आया था। जिसने उस आईडी बनाना सीखाया था। नदीम लोन वोल्फ अटैक में ट्रेंड था। जैश-ए-मुहम्मद के आतंकियों के इशारे पर वह भारत विरोधी हरकतें करने की तैयारी में था। सैफुल्लाह ने ही नूपुर शर्मा के कत्ल का आदेश दिया था। पाकिस्तान में बैठे सैफुल्लाह ने नदीम को आईईडी बनाने से संबंधित लिटरेचर भेजा और lone wolf attack के लिए चाकू से मारने की ट्रेनिंग भी दिया था। नदीम पाकिस्तान और अफगानिस्तान के विभिन्न हैंडलर्स के संपर्क में था। इसे जिहादी साहित्य दिया गया।

एटीएस ने बताया कि नदीम को पाकिस्तान के नंबर से 70 पेज की बुकलेट भेजी गई थी. हिंदी और उर्दू में लिखी Explosive course, Fidae Force से वह आईईडी बनाना सीखाया था। नदीम के मोबाइल से पीडीएफ फॉर्मेट में भेजा गया फिदायीन बनने का कोर्स मैटेरियल बरामद हुआ हैं। नदीम के बनाए गए टेलीग्राम ग्रुप पर पाकिस्तान, अफगानिस्तान और सीरिया के भी कई नंबर से लोग जुड़े हैं।

सैफुल्लाह ने नदीम को एक फेक फेसबुक मैसेंजर ID से कई वीडियो क्लिप्स भी भेजी थीं जिनके जरिये नौजवानों को रेडिक्लाइज किया गया था। नदीम को एक फेक फेसबुक मैसेंजर ID से कई वीडियो क्लिप्स भी भेजी थी। इसके जरिए नौजवानों को रेडिक्लाइज किया जाता था।